~आचार्य रंजन
पिछले माह की तरह इस माह भी समस्त बारह राशि का मासिक राशि - फल का पब्लिशिंग किया जा रहा है । और यह प्रत्येक माह के लगभग १५ तारीख तक पोस्ट हो जाएगा । अतः अपना राशि एवं लग्न का पता अपने कुंडली से कर लेने के बाद ही राशि - फल पढ़ें । यदि आपका अपना कोई कुंडली नही हो तो ऐसी परिस्थिति में अपने प्रचलित नाम के प्रथम अक्षर के अनुसार भी राशि - फल देखा जा सकता है ।
# मेष ( चु , चे , चो , ला , ली , लू , ले , लो , अ ) -
यह समय विशेष रूप से आर्थिक चुनौतियों से परिपूर्ण है । अतः कोई भी वित्त सम्बन्धी निर्णय सोच - समझकर सावधानी पूर्वक लें ।
यदि आप कहीं कार्यरत हैं, तो आप और आपके अधिकारी के बीच कुछ परेशानियां आ सकती हैं । अधिकारी आपके कार्य की सराहना नहीं करेंगे और संभव है की आपको दिए गए उत्तरदायित्व में कटौती करे या वेतन कम कर दे ।
यदि आप व्यापारी हैं तो व्यापार में धक्का लग सकता है , किसी विवाद में ना पड़ें क्योंकि मित्र व वरिष्ट व्यक्तियों से झगडे की सम्भावना से इनकार नहीं किया जा सकता है । इस समय असंतोष आपके घर की शांति व सामंजस्य पर प्रभाव डाल सकता है ।
# वृष ( इ , उ , ऐ , ओ , व् , वि , वू , वे , वो ) -
आपके लिए यह समय धन - लाभ , आर्थिक व सामजिक स्थिति में सुधार व उन्नति का स्पष्ट संकेत दे रही है ।
अपने अफसर से पदोन्नति मांगने का अनुकूल समय है । इस समय आप व्यापार में लाभ , धन प्राप्ति और यहाँ तक की मित्रों से भी लाभ प्राप्त करने की आशा की जा सकती है ।
समाज में भी आपकी प्रतिष्ठा बढ़ सकती है तथा आपका स्वास्थ्य उत्तम रहेगा जो की परिवार के लिए आनंद -दायक होगा ।
इस काल के दौरान आपके घर कोई आध्यात्मिक निर्माणात्मक कार्य संपन्न होगा जो घर - परिवार के आनंद में वृद्धि करेगा । आमोद - प्रमोद , अच्छा स्वादिष्ट भोजन व मिष्टान्न आदि का भी वितरण होगा । कुल मिलाकर यह समय आपके व आपके परिवार के लिए शांतिपूर्ण व सुखद है ।
# मिथुन ( का , की , कू , घ , ङः , छ , के , को , ह )-
यह समय आपके लिए शुभ है । यह लाभ , पदोन्नति , प्रगति , तथा प्रयासों में सफलता का सूचक है ।
समाज में आपको और भी सम्मानीय स्थान मिल सकता है । जहां की आशा भी ना हो , ऐसी जगह से आपको अचानक लाभ प्राप्त हो सकता है । इसके अलावा आपका स्वास्थ्य उत्तम रहेगा और हर ओर सुख ही सुख बिखरा पायेंगे ।
# कर्क ( हि , हु , हे , हो , डा , डी , डू , डे , डो ) -
इस काल का आपके जीवन पर विशेष प्रभाव पड़ेगा । आप पर किसी कुचाल के कारण दोषारोपण हो सकता है , स्थान बदल सकता है तथा मानसिक शांति का आभाव रह सकता है ।
आर्थिक रूप से यह समय कठिनाई से परिपूर्ण है । पैसा वसूल करने में कठिनाई आ सकती है । साथ ही व्यर्थ के खर्चों का भी योग बन रहा है ।
इन सबके बावजूद आप किसी सत्कार्य के विषय में सोच सकते हैं तथा उसमें सफलता भी प्राप्त कर सकते हैं ।
# सिंह ( मा , मी , मू , मे , मो , टा , टी , टू , टे ) -
कुल मिलाकर यह समय हानि व शारीरिक व्याधियों का है । अतः व्यर्थ के खर्चों से दूर रहें तथा आर्थिक मामलों में सावधान रहें ।
यह अवधि कार्यालय में अप्रिय घटनाओं की भी है एवं घर में पति / पत्नी से विवाद , झगडे का रूपं ले सकता है ।
आप व्यर्थ के भय , चिंता एवं बेचैनी से आक्रांत हो सकते हैं ।
किसी रिश्तेदार की समस्यायें अचानक उभरकर सामने आ सकती है व चिंता का कारण बन सकती है ।
# कन्या ( टा , पा , पी , पू , षा , ण , ठ , पे , पो ) -
यह समय कष्टप्रद यात्रा , स्वास्थ्य सम्बन्धी चिंताएँ तथा व्यापार में मंदी का सूचक है ।
कार्यालय में अपने से वरिष्ट व्यक्तियों तथा उच्चधिकारियों से किसी प्रकार के झगडे से बचें ।
अपने जीवन - साथी के शारीरिक - कष्ट , विषद व मानसिक व्यथा आपकी चिंता का कारण बन सकते हैं । बच्चों का स्वाश्थ्य भी चिंता का कारण बन सकता है । मैं समझता हूँ की यह अवधी आपके लिए थकान भरा रह सकता है ।
# तुला ( रा , री , रू , रे , रो , ता , ती , तू , ते ) -
यह समय आपके जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में सफलताओं का है । आप धन प्राप्ति से बैंक खातों में वृद्धी , समाज में उच्च स्थान व जीवन शैली में सकारात्मक परिवर्तन की आशा कर सकते हैं ।
आपकी पदोन्नति हो सकती है व सबसे ऊँचे पदाधिकारी द्वारा आपका सम्मान किया जा सकता है । आपके प्रयासों की सराहना एवं शत्रुओं की पराजय भी संभावित है ।
जहाँ तक स्वास्थ्य का सवाल है तो आप रोग , अवशाद , अकर्मण्यता व चिंताओं से मुक्त रहेंगे । साथ ही आपके परिवार का स्वास्थ्य भी इस काल में उत्तम रहेगा ।
# वृश्चिक ( तो , ना , नी , नू , ने, नो , या , यी , यूं ) -
यह समय आर्थिक चुनौतियों व् मानसिक शांति में विघ्न का सूचक है । सरकारी मसले आपके लिए चिंता का विषय बन सकते हैं । नए लोगों से शत्रुता की भी सम्भावना है , ऐसा भी संभव है की आप स्वयं को अस्वस्थ एवं अकर्मण्य अनुभव करें , अतः स्वस्थ्य की ओर ध्यान देने की आवश्यकता है । संतान सम्बंधित समस्यायें भी चिंता का विषय हो सकता है , परन्तु यदि कुंडली में मंगल देव की स्थिति अच्छी हुई तो इन चिंता के विषयों में थोडी कमी आ सकती है साथ ही धन का लाभ भी हो सकता है ।
# धनु ( ये , यो , भा , भी , भू , ध , फ , ढ , भे ) -
यह समय आपके वर्तमान सामाजिक स्तर व् कार्यालय में अपनी प्रतिष्ठा बनाये रखने में कठिनाई का है , क्योंकि इसमें गिरावट के संकेत हैं । अतः अपने वरिष्ठ अधिकारी , शुभचिंतकों व् परामर्शदाताओं से विवाद से बचें ।
वैवाहिक जीवन में तनाव व् दाम्पत्य सुख में भी यथेष्ट कमी का अनुभव कर सकते हैं । साथ ही यात्रा बाधा एवं अपने धन व मूल्यवान वस्तुओं की सुरक्षा पर ध्यान केन्द्रित करने का भी है , क्योंकि इस काल में चोरी की भी संभावना लग रही है ।
# मकर ( भो , जा , जी , खी , खू , खे , खो , ग , गी ) -
कुछ अनचाहे खर्च भी करने पर सकते हैं । धन व्यय करने की ललक पर नियंत्रण रखें । इस अवधी में यात्रा के भी अनेक अवसर बनने के योग दिख रहे हैं ( हो सकता है की सर-दर्द से भी पीड़ित रहें ) ।
वैसे, सूर्य देव की गोचर में शुभ दृष्टि से कुल मिलाकर यह समय आपके व्यवसाय एवं व्यक्तिगत जीवन में सुख व सफलता का है । समाज में आपको और भी अधिक सम्मानीय स्थान प्राप्त हो सकता है । परिवार के सदस्य आपको स्वार्थरहित स्नेह देंगे तथा शत्रुओं पर विजय प्राप्त करेंगे । इस प्रकार व्यक्तिगत जीवन में आप स्वयं को मानसिक एवं शारीरिक रूप से इतना स्वस्थ अनुभव करेंगे जैसा पहले कभी नहीं किया होगा । साथ ही आपको धन - लाभ का भी योग स्पष्ट दिख रहा है । अतः जीवन के प्रति आपका दृष्टिकोण सकारत्मक एवं उत्साह -पूर्ण रहेगा ।
# कुम्भ ( गू , गे, गो , सा , सी , सू , से , सो , दा ) -
यह समय आपके लिए धन - सम्बन्धी चुनौतियों का है । इस दौरान आपको पूर्वाभास हो जाएगा की व्यापार में अपेक्षित लाभ न होकर धन का ह्राष हो रहा है ।
इस समय अनेक प्रकार के प्रिय व निकट रहने वाले आक्रांत करते रहेंगे । आप अपने प्रिय व निकट रहने वाले व्यक्तियों के प्रति चिरचिरेपन का व्यवहार करेंगे । आप पायेंगे की सदा आसानी से किये जाने वाले साधारण क्रियाकलापों को करने में भी आपको कठिनाई का अनुभव हो रहा है । इन दिनों आप सर दर्द से भी परेशान रह सकते हैं ।
# मीन ( दी, दू , थ , झ् , ञों , दे , दो , चा , ची ) -
यह अवधी स्थायी या अस्थायी स्थान परिवर्तन , कार्य करने के स्थान पर कठिनाइयां तथा अपने वरिष्ठ अफसरों अथवा मालिक की अप्रसन्नता झेलना संभव है । इस दौरान आप थकान महसूस कर सकते हैं एवं उदर रोग , पाचन क्रिया सम्बन्धी रोग , नेत्र तथा ह्रदय से सम्बंधित समस्यायें हो सकती है । अतः स्वास्थ्य के प्रति विशेष सतर्क रहें ।
जहाँ तक घर का सम्बन्ध है , परिवार में अनबन तथा मित्रों से मन-मुटाव वाली परिस्थितियाँ गृह-कलह अथवा क्लेश का कारण बन सकती है । जीवन -साथी से असहमति अथवा विवाद आपके वैवाहिक संबंधों को प्रभावित कर सकता है । कुल मिलाकर घर की शांति एवं परस्पर सामंजस्य हेतु यह समय चुनौतीपूर्ण है ।
नोट : - " ऊपर दिए गए राशि फल सामान्य हैं , अतः फल की शुभता एवं अशुभता में कमी या ज्यादा आपके कुंडली में चल रहे दशा - अन्तर्दशा पर भी निर्भर करता है । "
- आचार्य रंजन ( ज्योतिषाचार्य एवं वास्तु विशेषज्ञ),सह निदेशक " महर्षि भृगु ज्योतिष संस्थान " , बेगुसराय , बिहार
** आपकी प्रतिक्रिया का स्वागत है **
पिछले माह की तरह इस माह भी समस्त बारह राशि का मासिक राशि - फल का पब्लिशिंग किया जा रहा है । और यह प्रत्येक माह के लगभग १५ तारीख तक पोस्ट हो जाएगा । अतः अपना राशि एवं लग्न का पता अपने कुंडली से कर लेने के बाद ही राशि - फल पढ़ें । यदि आपका अपना कोई कुंडली नही हो तो ऐसी परिस्थिति में अपने प्रचलित नाम के प्रथम अक्षर के अनुसार भी राशि - फल देखा जा सकता है ।
# मेष ( चु , चे , चो , ला , ली , लू , ले , लो , अ ) -
यह समय विशेष रूप से आर्थिक चुनौतियों से परिपूर्ण है । अतः कोई भी वित्त सम्बन्धी निर्णय सोच - समझकर सावधानी पूर्वक लें ।
यदि आप कहीं कार्यरत हैं, तो आप और आपके अधिकारी के बीच कुछ परेशानियां आ सकती हैं । अधिकारी आपके कार्य की सराहना नहीं करेंगे और संभव है की आपको दिए गए उत्तरदायित्व में कटौती करे या वेतन कम कर दे ।
यदि आप व्यापारी हैं तो व्यापार में धक्का लग सकता है , किसी विवाद में ना पड़ें क्योंकि मित्र व वरिष्ट व्यक्तियों से झगडे की सम्भावना से इनकार नहीं किया जा सकता है । इस समय असंतोष आपके घर की शांति व सामंजस्य पर प्रभाव डाल सकता है ।
# वृष ( इ , उ , ऐ , ओ , व् , वि , वू , वे , वो ) -
आपके लिए यह समय धन - लाभ , आर्थिक व सामजिक स्थिति में सुधार व उन्नति का स्पष्ट संकेत दे रही है ।
अपने अफसर से पदोन्नति मांगने का अनुकूल समय है । इस समय आप व्यापार में लाभ , धन प्राप्ति और यहाँ तक की मित्रों से भी लाभ प्राप्त करने की आशा की जा सकती है ।
समाज में भी आपकी प्रतिष्ठा बढ़ सकती है तथा आपका स्वास्थ्य उत्तम रहेगा जो की परिवार के लिए आनंद -दायक होगा ।
इस काल के दौरान आपके घर कोई आध्यात्मिक निर्माणात्मक कार्य संपन्न होगा जो घर - परिवार के आनंद में वृद्धि करेगा । आमोद - प्रमोद , अच्छा स्वादिष्ट भोजन व मिष्टान्न आदि का भी वितरण होगा । कुल मिलाकर यह समय आपके व आपके परिवार के लिए शांतिपूर्ण व सुखद है ।
# मिथुन ( का , की , कू , घ , ङः , छ , के , को , ह )-
यह समय आपके लिए शुभ है । यह लाभ , पदोन्नति , प्रगति , तथा प्रयासों में सफलता का सूचक है ।
समाज में आपको और भी सम्मानीय स्थान मिल सकता है । जहां की आशा भी ना हो , ऐसी जगह से आपको अचानक लाभ प्राप्त हो सकता है । इसके अलावा आपका स्वास्थ्य उत्तम रहेगा और हर ओर सुख ही सुख बिखरा पायेंगे ।
# कर्क ( हि , हु , हे , हो , डा , डी , डू , डे , डो ) -
इस काल का आपके जीवन पर विशेष प्रभाव पड़ेगा । आप पर किसी कुचाल के कारण दोषारोपण हो सकता है , स्थान बदल सकता है तथा मानसिक शांति का आभाव रह सकता है ।
आर्थिक रूप से यह समय कठिनाई से परिपूर्ण है । पैसा वसूल करने में कठिनाई आ सकती है । साथ ही व्यर्थ के खर्चों का भी योग बन रहा है ।
इन सबके बावजूद आप किसी सत्कार्य के विषय में सोच सकते हैं तथा उसमें सफलता भी प्राप्त कर सकते हैं ।
# सिंह ( मा , मी , मू , मे , मो , टा , टी , टू , टे ) -
कुल मिलाकर यह समय हानि व शारीरिक व्याधियों का है । अतः व्यर्थ के खर्चों से दूर रहें तथा आर्थिक मामलों में सावधान रहें ।
यह अवधि कार्यालय में अप्रिय घटनाओं की भी है एवं घर में पति / पत्नी से विवाद , झगडे का रूपं ले सकता है ।
आप व्यर्थ के भय , चिंता एवं बेचैनी से आक्रांत हो सकते हैं ।
किसी रिश्तेदार की समस्यायें अचानक उभरकर सामने आ सकती है व चिंता का कारण बन सकती है ।
# कन्या ( टा , पा , पी , पू , षा , ण , ठ , पे , पो ) -
यह समय कष्टप्रद यात्रा , स्वास्थ्य सम्बन्धी चिंताएँ तथा व्यापार में मंदी का सूचक है ।
कार्यालय में अपने से वरिष्ट व्यक्तियों तथा उच्चधिकारियों से किसी प्रकार के झगडे से बचें ।
अपने जीवन - साथी के शारीरिक - कष्ट , विषद व मानसिक व्यथा आपकी चिंता का कारण बन सकते हैं । बच्चों का स्वाश्थ्य भी चिंता का कारण बन सकता है । मैं समझता हूँ की यह अवधी आपके लिए थकान भरा रह सकता है ।
# तुला ( रा , री , रू , रे , रो , ता , ती , तू , ते ) -
यह समय आपके जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में सफलताओं का है । आप धन प्राप्ति से बैंक खातों में वृद्धी , समाज में उच्च स्थान व जीवन शैली में सकारात्मक परिवर्तन की आशा कर सकते हैं ।
आपकी पदोन्नति हो सकती है व सबसे ऊँचे पदाधिकारी द्वारा आपका सम्मान किया जा सकता है । आपके प्रयासों की सराहना एवं शत्रुओं की पराजय भी संभावित है ।
जहाँ तक स्वास्थ्य का सवाल है तो आप रोग , अवशाद , अकर्मण्यता व चिंताओं से मुक्त रहेंगे । साथ ही आपके परिवार का स्वास्थ्य भी इस काल में उत्तम रहेगा ।
# वृश्चिक ( तो , ना , नी , नू , ने, नो , या , यी , यूं ) -
यह समय आर्थिक चुनौतियों व् मानसिक शांति में विघ्न का सूचक है । सरकारी मसले आपके लिए चिंता का विषय बन सकते हैं । नए लोगों से शत्रुता की भी सम्भावना है , ऐसा भी संभव है की आप स्वयं को अस्वस्थ एवं अकर्मण्य अनुभव करें , अतः स्वस्थ्य की ओर ध्यान देने की आवश्यकता है । संतान सम्बंधित समस्यायें भी चिंता का विषय हो सकता है , परन्तु यदि कुंडली में मंगल देव की स्थिति अच्छी हुई तो इन चिंता के विषयों में थोडी कमी आ सकती है साथ ही धन का लाभ भी हो सकता है ।
# धनु ( ये , यो , भा , भी , भू , ध , फ , ढ , भे ) -
यह समय आपके वर्तमान सामाजिक स्तर व् कार्यालय में अपनी प्रतिष्ठा बनाये रखने में कठिनाई का है , क्योंकि इसमें गिरावट के संकेत हैं । अतः अपने वरिष्ठ अधिकारी , शुभचिंतकों व् परामर्शदाताओं से विवाद से बचें ।
वैवाहिक जीवन में तनाव व् दाम्पत्य सुख में भी यथेष्ट कमी का अनुभव कर सकते हैं । साथ ही यात्रा बाधा एवं अपने धन व मूल्यवान वस्तुओं की सुरक्षा पर ध्यान केन्द्रित करने का भी है , क्योंकि इस काल में चोरी की भी संभावना लग रही है ।
# मकर ( भो , जा , जी , खी , खू , खे , खो , ग , गी ) -
कुछ अनचाहे खर्च भी करने पर सकते हैं । धन व्यय करने की ललक पर नियंत्रण रखें । इस अवधी में यात्रा के भी अनेक अवसर बनने के योग दिख रहे हैं ( हो सकता है की सर-दर्द से भी पीड़ित रहें ) ।
वैसे, सूर्य देव की गोचर में शुभ दृष्टि से कुल मिलाकर यह समय आपके व्यवसाय एवं व्यक्तिगत जीवन में सुख व सफलता का है । समाज में आपको और भी अधिक सम्मानीय स्थान प्राप्त हो सकता है । परिवार के सदस्य आपको स्वार्थरहित स्नेह देंगे तथा शत्रुओं पर विजय प्राप्त करेंगे । इस प्रकार व्यक्तिगत जीवन में आप स्वयं को मानसिक एवं शारीरिक रूप से इतना स्वस्थ अनुभव करेंगे जैसा पहले कभी नहीं किया होगा । साथ ही आपको धन - लाभ का भी योग स्पष्ट दिख रहा है । अतः जीवन के प्रति आपका दृष्टिकोण सकारत्मक एवं उत्साह -पूर्ण रहेगा ।
# कुम्भ ( गू , गे, गो , सा , सी , सू , से , सो , दा ) -
यह समय आपके लिए धन - सम्बन्धी चुनौतियों का है । इस दौरान आपको पूर्वाभास हो जाएगा की व्यापार में अपेक्षित लाभ न होकर धन का ह्राष हो रहा है ।
इस समय अनेक प्रकार के प्रिय व निकट रहने वाले आक्रांत करते रहेंगे । आप अपने प्रिय व निकट रहने वाले व्यक्तियों के प्रति चिरचिरेपन का व्यवहार करेंगे । आप पायेंगे की सदा आसानी से किये जाने वाले साधारण क्रियाकलापों को करने में भी आपको कठिनाई का अनुभव हो रहा है । इन दिनों आप सर दर्द से भी परेशान रह सकते हैं ।
# मीन ( दी, दू , थ , झ् , ञों , दे , दो , चा , ची ) -
यह अवधी स्थायी या अस्थायी स्थान परिवर्तन , कार्य करने के स्थान पर कठिनाइयां तथा अपने वरिष्ठ अफसरों अथवा मालिक की अप्रसन्नता झेलना संभव है । इस दौरान आप थकान महसूस कर सकते हैं एवं उदर रोग , पाचन क्रिया सम्बन्धी रोग , नेत्र तथा ह्रदय से सम्बंधित समस्यायें हो सकती है । अतः स्वास्थ्य के प्रति विशेष सतर्क रहें ।
जहाँ तक घर का सम्बन्ध है , परिवार में अनबन तथा मित्रों से मन-मुटाव वाली परिस्थितियाँ गृह-कलह अथवा क्लेश का कारण बन सकती है । जीवन -साथी से असहमति अथवा विवाद आपके वैवाहिक संबंधों को प्रभावित कर सकता है । कुल मिलाकर घर की शांति एवं परस्पर सामंजस्य हेतु यह समय चुनौतीपूर्ण है ।
नोट : - " ऊपर दिए गए राशि फल सामान्य हैं , अतः फल की शुभता एवं अशुभता में कमी या ज्यादा आपके कुंडली में चल रहे दशा - अन्तर्दशा पर भी निर्भर करता है । "
- आचार्य रंजन ( ज्योतिषाचार्य एवं वास्तु विशेषज्ञ),सह निदेशक " महर्षि भृगु ज्योतिष संस्थान " , बेगुसराय , बिहार
** आपकी प्रतिक्रिया का स्वागत है **