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एक पक्ष में लगभग ४ बार भद्रा की आवृति होती है
शुक्ल - पक्ष की अष्टमी और पूर्णिमा तिथि के पूर्वार्ध में तथा चतुर्थी एवं एकादशी तिथि के उत्तरार्ध में भद्रा होती है , जबकि कृष्णपक्ष की तृतीया और दशमी तिथि के उत्तरार्ध में तथा सप्तमी एवं चतुर्दशी तिथि के पूर्वार्ध में भद्रा की व्याप्ति रहती है ।
नोट : प्रायः सभी पंचांगों में भद्रा का प्रारम्भ एवं अंत दिया रहता है । - आचार्य रंजन , बेगुसराय , बिहार